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आष्टा । विगत एक सप्ताह से भी अधिक समय हो गया आष्टा में धरातल के बदले कागजो में चल रहा महादेव नर्सिंग कॉलेज के पीड़ित छात्र-छात्राएं अपनी विभिन्न मांगों को लेकर आंदोलनरत है ।

एक सप्ताह से हो रहे है धरना प्रदर्शन

दो बार धरना प्रदर्शन के बाद प्रशासन-पुलिस के हस्तक्षेप के कारण महादेव नर्सिंग कॉलेज के संचालक हर्षवर्धन इन पीड़ित छात्र-छात्राओं को उनके जमा ओरिजनल दस्तावेज देने को जैसे तैसे तैयार हुआ ।

आज दस्तावेज लेने थाने पहुचे छात्र छात्राएं,पालक

लेकिन दो दिनों से कॉलेज संचालक अपनी हठधर्मिता,मनमानी के चलते इन छात्र-छात्राओं को दस्तावेज देने के नाम पर आष्टा बुलाता है लेकिन उन्हें दस्तावेज न देकर तरह-तरह के बहाने बनाकर परेशान किया जा रहा है ।

परेशान हो कर आज फिर कालेज के खिलाफ की नारेबाजी

पीड़ित छात्रों ने बताया कि महादेव नर्सिंग कॉलेज का संचालक हर्षवर्धन ने कल मंगलवार को छात्र-छात्राओं को उनके जमा ओरिजिनल दस्तावेज वापस करने के लिए सुभाष नगर में बुलाया कुछ छात्रों को दस्तावेज दिए और बाकी छात्रों को बैरंग लौटा दिया उन्हें आज आने को कहा गया था ।

ये है संचालक फाइल वाले जो सील लेने गये 2 घंटे में लौटे

आज फिर कम से कम 50-60 छात्र छात्राएं आष्टा नगर के एवं आसपास के ग्रामीण अंचलों से काफी दूर-दूर से छात्र-छात्राएं आष्टा आए और थाने में इन्हें दस्तावेज देने के लिए बुलाया गया ।

जब यह छात्र-छात्राए थाने पहुंचे तब एक बार फिर हर्षवर्धन ने अपनी कुंठा का प्रदर्शन करते हुए छात्र-छात्राओं को यह कहकर रुकने को कहा कि वह सील भूल आया है सील लेने जा रहा है ।

नये थाने के कक्ष में बैठा कालेज का स्टॉफ

हर्षवर्धन सील लेने गया तो लगभग 2 घंटे तक वह वापस नहीं आया और छात्र-छात्राएं धूप में खड़े खड़े परेशान होते रहे । सूचना मिलते ही एक बार फिर नगर की स्थानीय प्रेस थाने पहुंची । थाना परिसर में सभी पीड़ित अपने पालकों के साथ खड़े कालेज संचालक के आने का इंतजार कर रहे थे।

नवीन चौधरी पीड़ित छात्र महादेव नर्सिंग कालेज

थाना परिसर में उपस्थित छात्र-छात्राओं नवीन चौधरी,सलोनी परमार ने बताया कि संचालक पुलिस के हस्तक्षेप के बाद दस्तावेज देने को तैयार तो हुआ लेकिन दस्तावेज देने के नाम पर वह परेशान कर रहा है और करीब 2 घंटे से थाने में सब छात्र-छात्राएं खड़े लेकिन वह सील लेने का कह कर गया है।

घंटो परेशान होने के बाद टूटा सब्र का बांध

पर अभी तक नहीं लौटा है । नाराज होकर जब छात्र छात्राएं परेशान हो गए तब छात्र-छात्राओं ने एक बार फिर कॉलेज प्रशासन के खिलाफ जान कर नारेबाजी की । थोड़ी देर बाद कॉलेज संचालक आ गया ओर गुस्से से लाल पीला हुआ संचालक ने एवं कॉलेज स्टॉफ की एक महिला कर्मी ने छात्र-छात्राओं से अभद्रता करना शुरू कर दी ।

मोनिका परमार पीड़ित छात्रा,महादेव नर्सिंग कालेज

जिसको कवर करने वाले प्रेस के लोगो से भी वो असभ्यता से बात करने लगी उन्हें फोटो,वीडियो बनाने पर विवाद करने पर उतारू हो गई। जब थाने में विवाद होते देखा तब पुलिस ने इस कॉलेज संचालक को थाने से भगा दिया तथा वहां से छात्र-छात्राओं को भी हटा दिया ।

ये है छात्रा मोनिका मेवाडा जिसकी बिगड़ी तबियत

आज अपने जमा दस्तावेज लेने आई एक युवती मोनिका मेवाडा की धूप में घंटो खड़े रहने से तबियत बिगड़ गई उसे चक्कर आने पर परिजनों ने उसे संभाला।

इसे पूरा सुनिये ओर कालेज की कहानी समझिये

ऐसा लगता है कि कॉलेज संचालक जो मनमानी और तानाशाही कर रहा है। उसकी तानाशाही,मनमानी,दादागिरी कम नही हो रही है निश्चित रूप से कहीं ना कहीं उसे राजनीतिक एवं प्रशासनिक संरक्षण प्राप्त है ।

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वही इसकी चल रही जांच में देरी भी समझ से परे लग रहा है। जांच टीम को चाहिये कि वो जल्दी से जल्दी जांच कार्य पूर्ण कर कलेक्टर को अपना जांच प्रतिवेदन सोप दे ताकि पीड़ित छात्र छात्राओं को जल्दी न्याय मिल सके।

अपनी पीड़ा दुख पुलिस को सुनाते पीड़ित छात्र

कॉलेज की मनमानी,लूट,सहित अन्य कारणों से पीड़ित छात्र छात्राओं में लगातार आक्रोश बढ़ता जा रहा है,वही विगत एक सप्ताह से अधिक समय हो गया रोजाना इस कॉलेज के खिलाफ कुछ ना कुछ हो रहा है।

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